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फरीदाबाद लोकसभा क्षेत्र में 9 विधायक लेकिन जनता को KP गुर्जर से सबसे अधिक उम्मीदें, क्योंकि..

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फरीदाबाद: जितना बड़ा नेता जनता को उतनी ही अधिक उम्मीदें. कृष्णपाल गुर्जर फरीदाबाद लोकसभा क्षेत्र के सांसद हैं, हरियाणा प्रदेश के अध्यक्ष रह चुके हैं, हरियाणा के दूसरे सबसे बड़े नेता माने जाते हैं, मोदी सरकार में केंद्रीय राज्य मंत्री हैं इसलिए लोग उन्हें मोदी का भी ख़ास समझते हैं.

फरीदाबाद की जनता को कृष्णपाल गुर्जर से ही सबसे अधिक उम्मीदें हैं. कृष्णपाल गुर्जर को भी इस बात को समझना चाहिए, वो सिर्फ सांसद नहीं बल्कि जनता की नजर में फरीदाबाद के भाग्य विधाता हैं, जनता को विधायकों से उतनी उम्मीदें नहीं हैं जितनी कृष्णपाल गुर्जर से हैं, यही वजह है कि अगर किसी गाँव या मोहल्ले में प्रॉपर विकास नहीं हुआ है तो उसके लिए कृष्णपाल गुर्जर को ही जिम्मेदार ठहराया जा रहा है किसी विधायक को नहीं, अगर किसी क्षेत्र की जनता कृष्णपाल गुर्जर को विकास ना हो पाने का दोष दे तो कृष्णपाल गुर्जर को उनकी भावनाओं को समझना चाहिए और अगली बार उनकी शिकायत दूर करनी चाहिए.

आपकी जानकारी के लिए बता दें कि फरीदाबाद लोकसभा क्षेत्र में 9 विधानसभा हैं - फरीदाबाद NIT, फरीदाबाद शहर, बडखल, बल्लभगढ़, तिगांव, पृथला, पलवल, होडल और हथीन. फरीदाबाद लोकसभा क्षेत्र में कुल 9 विधायक हैं. किसी विधानसभा क्षेत्र में एक विधायक की पॉवर सांसद से अधिक होती है क्योंकि विकास के लिए विधायक को सांसद से भी अधिक पैसे मिलते हैं और विधानसभा क्षेत्र में विधायक की सांसद से अधिक चलती है लेकिन जनता इस बात को नहीं जानती क्योंकि जनता की नजर में कृष्णपाल गुर्जर का कद विधायकों से बड़ा है.

किसी विधानसभा क्षेत्र के विकास की जिम्मेदारी विधायक की होती है क्योंकि वह राज्य की विधानसभा का प्रतिनिधि होता है, विधायक राज्य सरकार से अपने विधानसभा क्षेत्र के विकास के लिए मनचाहे पैसे की मांग कर सकता है, हरियाणा की खट्टर सरकार ने पृथला, NIT और अन्य विधानसभा के विधायकों को मुंहमांगे पैसे भी दिए हैं लेकिन जनता इस वक्त विधायकों के काम को नहीं देख रही है. जनता यह भी नहीं सोच रही है कि अगर विधायकों ने अपने क्षेत्र का बढ़िया विकास कराया होता तो कृष्णपाल गुर्जर का काम आसान हो जाता लेकिन ऐसा लगता है कि विधायकों ने अपनी जिम्मेदारी अच्छे ढंग से नहीं निभाई, खासकर ग्रामीण क्षेत्रों का विकास सही ढंग से नहीं हो पाया, सरपंचों से भी अपना रोल सही ढंग से नहीं निभाया इसलिए ग्रामीण क्षेत्रों की जनता कृष्णपाल गुर्जर से अधिक शिकायत कर रही है.

कृष्णपाल गुर्जर को यह भी समझना चाहिए कि कुछ कैमरामेन उनके पीछे पड़े हुए हैं, जब किसी क्षेत्र की जनता उनसे कोई शिकायत करती है जो उनका हक भी है. जनता को अपने सांसद से अपने क्षेत्र की समस्याओं की शिकायत करने का हक है, अपने लिए विकास मांगने का हक है लेकिन कुछ मीडिया वाले जनता की शिकायत को कृष्णपाल गुर्जर के विरोध के रूप में दिखाकर कृष्णपाल गुर्जर की छवि खराब करने की कोशिश कर रहे हैं.

कृष्णपाल गुर्जर को अपनी जिम्मेदारी समझनी होगी. अगर इस चुनाव में उनकी जीत होती है तो उन्हें पहले से अधिक मेहनत करनी होगी. उन्हें सभी विधायकों के काम पर नजर रखनी चाहिए क्योंकि जनता उनपर ही अधिक भरोसा करती है, उन्हें सरपंचों के काम पर भी नजर रखनी चाहिए क्योंकि गाँवों में घटिया क्वालिटी की इमारतें और रोड बनायी जा रही हैं, कमीशनखोरी ज्यादा चल रही है, अगर विकास में काम में कोई भी गड़बड़ी दिखी तो जनता इसलिए सरपंचों और विधायकों को नहीं बल्कि कृष्णपाल गुर्जर को जिम्मेदारी ठहराएगी क्योंकि फरीदाबाद के वही सबसे बड़े नेता हैं और सांसद भी हैं. अगर कृष्णपाल गुर्जर जिले के सबसे बड़े नेता हैं तो सबसे अधिक जिम्मेदारी भी दिखानी पड़ेगी.
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