फरीदाबाद, 26 अक्टूबर: 2014 विधानसभा चुनाव में फरीदाबाद लोकसभा क्षेत्र की 9 सीटों में से सिर्फ 3 पर भाजपा की जीत हुई थी जिसकी वजह से विकास कार्य कराने में भाजपा के सामने मुश्किलें खड़ी हो गयी। उसके बाद भाजपा ने बसपा विधायक टेकचंद शर्मा और इनेलो विधायक नगेंदर भड़ाना से बातचीत करके उन्हें भी विकास कराने के लिए अरबों रुपये दे दिए। दोनों विधायक अपनी पार्टी से इस्तीफ़ा दिए बिना भाजपा सरकार के साथ मिलकर अपने क्षेत्र के विकास के लिए काम करने लगे और सरकार को इसका क्रेडिट देने लगे।
2019 विधानसभा चुनाव में फरीदाबाद की 9 सीटों में से 7 पर कमल खिला है, पृथला में निर्दलीय प्रत्याशी नयनपाल रावत ने बाजी मारी है जबकि NIT सीट पर कांग्रेस की जीत हुई है। निर्दलीय प्रत्याशी नयनपाल जो भाजपा से ही बगावत करके चुनाव लडे थे, वह फिर से भाजपा से जा मिले हैं इसलिए अब 8 सीटों पर कमल खिल चुका है।
फरीदाबाद में चौतरफा विकास के लिए भाजपा को सभी सीटों पर कमल खिलाना जरूरी था, अब सिर्फ NIT विधानसभा सीट बच रही है। यहाँ पर टेकचंद-नगेंदर फार्मूला अपनाकर यहाँ पर भी विकास कार्य कराये जा सकते हैं। अगर कांग्रेस विधायक नीरज शर्मा चाहेंगे तो भाजपा उन्हें भी नगेंदर और टेकचंद की तरह फंड देकर उनके क्षेत्र में विकास कराएगी।
आपको बता दें कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने फरीदाबाद में ही कहा था कि हम किसी भी विधायक के साथ भेदभाव नहीं करते, जो भी अपने क्षेत्र के विकास के लिए सरकार के साथ मिलकर काम करना चाहता है, हम उसको भी पैसे देते हैं। नीरज शर्मा के पास दो रास्ते हैं - या तो पक्के कोंग्रेसी बनकर भाजपा से दूर रहें और पांच साल फंड का रोना रोते रहें, दूसरा रास्ता है कि - हरियाणा सरकार से अपने क्षेत्र के विकास के लिए पैसे मांगे और जो भी पैसे मिले उसका क्रेडिट सरकार को दें। यही काम टेकचंद शर्मा और नगेंदर भड़ाना ने किया था।
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