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बल्लभगढ़: कम लिंगानुपात वाले शहरी क्षेत्रों में महिलाओं को किया जा रहा जागरूक

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फरीदाबाद (बल्लभगढ़), 05 फरवरी। एसडीएम अपराजिता ने बताया कि उपमंडल में महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा पोषण के प्रति जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है। 

उन्होंने कहा कि बेटियां बेटों से किसी भी क्षेत्र में कम नहीं है। बेटों के समान जो मां-बाप अपनी बेटियों की परवरिश करते हैं, वे बेटियां परिवार का नाम रोशन कराने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ती। घरों में भी बच्चों को ऐसी प्रेरणा दे कि वे बेटा बेटी में कोई भेद ना समझे। मां बाप भी बेटियों को बेटों के समान परवरिश देकर उन्हें सफलता की ऊंचाइयों पर पहुंचाने के लिए प्रेरित करें।

एसडीएम ने बताया कि महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा आयोजित उपमंडल में बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान के तहत बल्लभगढ़ उपमंडल के कम लिंगानुपात वाले शहरी क्षेत्रों में महिलाओं को जागरूक किया जा रहा है। एसडीएम अपराजिता ने कहा कि लड़कियों में सहनशीलता/इम्यूनिटी पावर लड़कों के मुकाबले अधिक होती है। वे किसी भी क्षेत्र में लड़कों से कम नहीं है। चाहे वह पढ़ाई, खेल, घर में काम करने का हो या अन्य सभी सामाजिक सरोकार के क्षेत्रों में लड़कियां लड़कों से किसी भी क्षेत्र में कम नहीं है।

उन्होंने कहा कि किसी भी परिवार, समाज, गांव, शहर, जिला, प्रदेश और देश के विकास में महिलाओं की अहम भूमिका होती है। सामाजिक सरोकार के उन्नति के शिखर के लिए महिलाएं किसी भी क्षेत्र में पुरुषों से पीछे नहीं है। एसडीएम ने महिलाओं को वन स्टॉप सेंटर की जानकारी देते हुए बताया कि महिलाएं बाल विकास विभाग द्वारा किसी महिला के साथ किसी भी प्रकार की हिंसा हो रही है तो वे तुरंत वन स्टॉप सेंटर के 181 टोल फ्री नंबर पर तुरंत संपर्क करें। आपको हर संभव सुविधा सरकार द्वारा जारी दिशा निर्देशो के अनुसार तुरंत उपलब्ध करवाई जाएगी। उन्होंने बताया एक जनवरी 2021 से परिवार पहचान पत्र भी सरकारी की सभी जनकल्याणकारी योजनाओं के क्रियान्वयन के लिए सरकार द्वारा जारी हिदायतों के अनुसार अनिवार्य लागू कर दिया गया है। 

जिला कार्यक्रम अधिकारी कम डब्ल्यूसीडीपीओ अनीता शर्मा ने पोषण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि वे बेटा बेटी में फर्क कतई ना समझे। बेटियों की परवरिश बेटों की तरह करें। डब्ल्यूसीडीपीओ ने कहा कि बेटियाँ शिक्षा, चिकित्सा, आईएएस, आईपीएस सहित हर क्षेत्र में बेटों के समान परिवारों के नाम रोशन कर रही है। उन्होंने कहा कि बच्चों में ऐसे संस्कार पैदा करें कि वे बच्चे खुलकर मां बाप के साथ अपनी बातें बचपन से ही कहना शुरू करें। बेहिचक होकर बात करने की प्रेरणा बच्चों में डालें। वन स्टाप सेंटर की ईन्चार्ज मीनू ने कहा कि वन स्टाप सेंटर द्वारा महिलाओं को प्रताड़ना पर पुलिस सहायता, मेडिकल सुविधा, कानूनी सहायता सहित चिकित्सा सुविधा उपलब्ध करवाई जाती है। उन्होंने बताया कि स्थानीय नागरिक हस्पताल/बादशाह खान अस्पताल में सरकार द्वारा जारी हिदायतों के अनुसार वन स्टाप सेंटर कार्य कर रहा है।

बाल संरक्षण यूनिट की अर्पना झा और अर्चना ने पोस्को एक्ट तथा विभिन्न प्रकार के बाल अपराध के कानूनी प्रक्रिया बारे विस्तार पूर्वक जानकारी दी। महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ अभियान तथा पोषण जागरुकता अभियान में बेटियों को शिक्षित करने के करने के लिए और नारी उत्पीड़न पर बचाव के लिए नाटक की प्रस्तुति नाटक मंडली द्वारा देकर उन्हें संदेश दिया गया। जागरुकता कार्यक्रम में उपमडंल के शहरी क्षेत्र के कम लिंगानुपात वाले शहरी क्षेत्रों में आजाद नगर, सोहन नगर, त्रिखा कॉलोनी, शिव कॉलोनी, प्रतापगढ एरिया में पोषण के प्रति जागरूक किया गया। इस अवसर पर सुपरवाइजर पूनम, शीला देवी, सुनीता रावत, ज्योति सहित सम्बंधित आंगनबाड़ी सैंटरो की आंगनवाड़ी कार्यकर्ता और महिला माताएं तथा अन्य महिलाएं उपस्थित रही।

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