फरीदाबाद: पुलिस का काम है अपराध पर अंकुश लगना, अपराधियों को सजा देना और आम आदमी खासकर बुजुर्गों और महिलाओं को सुरक्षित माहौल उपलब्ध कराना लेकिन खेड़ी थाने की पुलिस इस मामले में कई बार फेल साबित हुई है, इसी थाने के कई पुलिसकर्मियों पर पीड़ितों के साथ अभद्रता गालीबाजी, और रेप पीड़ित बच्ची के परिजनों का मजाक उड़ाने के भी आरोप लग चुके हैं.
अब खेड़ीपुल थाने का एक और अमानवीय चेहरा सामने आया है, ओज़ोन पार्क सोसाइटी में वहीं के निवासी ने एक बुजुर्ग को पीट दिया, बुजुर्ग को जान से मारने की धमकी भी दी गयी, खेड़ीपुल थाने में शिकायत दिए कई दिन हो गए लेकिन पुलिस अभी जाँच के नाम पर मामले को दबाने में लगी है, पीड़ित बुजुर्ग आरके गुप्ता अपने घर में छुपे बैठे हैं और आरोपी खुलेआम घूम रहा है, आरके गुप्ता को डर है कि कहीं सच में उनके साथ कुछ अनहोनी ना हो जाए क्योंकि पुलिस इस मामले को दबाने की कोशिश कर रही है.
मामले को क्यों दबा रही है पुलिस
आरोपी एसएस खटाना उर्फ़ सुग्रीव सिंह कथित तौर पर फर्जी अस्पताल चलाता है, उसके बाद डिग्री भी नहीं है, अस्पताल में कुछ दिनों पहले स्वास्थय विभाग ने छापा मारा था, डॉक्टर पर फर्जी मृत्यु प्रमाणपत्र बनाने के भी आरोप लगे थे, कई चीजें फर्जी पाए जाने पर उसके खिलाफ खेड़ीपुल थाने में ही धारा 420 और अन्य धाराओं (u/s 336 & 420 of IPC व Indian Medical council Act 1956 की धारा 15(2) व 15(3) व Drugs and Cosmetics Act 1940 की धारा 18 A व 18 C) के तहत FIR (0017) दर्ज की गयी थी.
अब खेड़ीपुल थाने का एक और अमानवीय चेहरा सामने आया है, ओज़ोन पार्क सोसाइटी में वहीं के निवासी ने एक बुजुर्ग को पीट दिया, बुजुर्ग को जान से मारने की धमकी भी दी गयी, खेड़ीपुल थाने में शिकायत दिए कई दिन हो गए लेकिन पुलिस अभी जाँच के नाम पर मामले को दबाने में लगी है, पीड़ित बुजुर्ग आरके गुप्ता अपने घर में छुपे बैठे हैं और आरोपी खुलेआम घूम रहा है, आरके गुप्ता को डर है कि कहीं सच में उनके साथ कुछ अनहोनी ना हो जाए क्योंकि पुलिस इस मामले को दबाने की कोशिश कर रही है.
मामले को क्यों दबा रही है पुलिस
आरोपी एसएस खटाना उर्फ़ सुग्रीव सिंह कथित तौर पर फर्जी अस्पताल चलाता है, उसके बाद डिग्री भी नहीं है, अस्पताल में कुछ दिनों पहले स्वास्थय विभाग ने छापा मारा था, डॉक्टर पर फर्जी मृत्यु प्रमाणपत्र बनाने के भी आरोप लगे थे, कई चीजें फर्जी पाए जाने पर उसके खिलाफ खेड़ीपुल थाने में ही धारा 420 और अन्य धाराओं (u/s 336 & 420 of IPC व Indian Medical council Act 1956 की धारा 15(2) व 15(3) व Drugs and Cosmetics Act 1940 की धारा 18 A व 18 C) के तहत FIR (0017) दर्ज की गयी थी.
खेड़ीपुल थाने में आरोपी के खिलाफ एक और FIR दर्ज है, कई मामले दर्ज होने की वजह से खेड़ीपुल के पुलिसकर्मियों की आरोपी एसएस खटाना से अच्छी जान पहचान हो गयी है, इसीलिए जिस दिन बुजुर्ग पर हमला हुआ और बुजुर्ग मुकदमा दर्ज करवाने पहुंचा तो पुलिस ने पहले आरोपी को फोन किया जिसकी वजह से आरोपी सावधान हो गया और अब पुलिस मामले को जांच के नाम पर दबा रही है.
वीडियो में देखिये क्या कहते हैं पीड़ित आरके गुप्ता
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