फरीदाबाद: फरीदाबाद: फरीदाबाद के हजारों मुस्लिमों ने मोदी सरकार के नागरिकता संसोधन कानून के खिलाफ सड़क पर उतरकर विरोध जताया। बसपा नेता हाजी करामत अली की अगुवाई में विरोध प्रदर्शन का आयोजन किया गया था जिसमें हजारों मुस्लिमों ने हिस्सा लिया और मोदी सरकार के खिलाफ नारेबाजी की. फरीदाबाद में मुस्लिमों के प्रदर्शन की ख़ास बात ये रही कि एक तरफ दिल्ली, यूपी और अन्य राज्यों में पुलिस को पत्थर मारे जा रहे हैं लेकिन फरीदाबाद के मुस्लिमों ने पुलिस को गुलाब देकर CAA/NRC का विरोध किया।
फरीदाबाद में नागरिकता संशोधन क़ानून को लेकर आज फरीदाबाद में हुआ प्रदर्शन पूरी तरह से शांतिपूर्ण रहा। बसपा के वरिष्ठ नेता हाजी करामत अली ने पुलिस अधिकारियों को गुलाब का फूल देकर अपनी आवाज सरकार तक पहुंचाई।
आपको बता दें कि देश में पाकिस्तानी, बांग्लादेशी और अफ़ग़ानिस्तान के घुसपैठियों पर लगाम लगाने के लिए मोदी सरकार ने नागरिकता संसोधन कानून बनाया है जिसके तहत पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान के हिन्दू, जैन, ईसाई, बौद्ध, सिख, पारसी अल्पसंख्यकों को ही भारत की नागरिकता देने का प्रावधान है, पाकिस्तानी, बांग्लादेशी और अफगानी मुस्लिमों को इसलिए भारत की नागरिकता नहीं दी जाएगी क्योंकि तीनों देश इस्लामिक राष्ट्र हैं और वहां पर मुस्लिमों के साथ धर्म के आधार पर भेदभाव और प्रताड़ना नहीं होती।
भारत सरकार ने यह भी साफ़ साफ़ कहा है कि इस कानून से भारतीय मुस्लिमों को कोई खतरा नहीं है, किसी भी भारतीय मुस्लिम की नागरिकता नहीं छीनी जाएगी। विरोध कर रहे मुस्लिम चाहते हैं कि तीनों देशों के मुस्लिम घुसपैठियों को भी भारत की नागरिकता मिले जबकि भारत सरकार तीनों देशों के मुस्लिम घुसपैठियों को उनके देश वापस भेजना चाहती है.
फरीदाबाद में शांतिपूर्ण रहा प्रदर्शन
फरीदाबाद में शांतिपूर्ण रहा प्रदर्शन
फरीदाबाद में नागरिकता संशोधन क़ानून को लेकर आज फरीदाबाद में हुआ प्रदर्शन पूरी तरह से शांतिपूर्ण रहा। बसपा के वरिष्ठ नेता हाजी करामत अली ने पुलिस अधिकारियों को गुलाब का फूल देकर अपनी आवाज सरकार तक पहुंचाई।
ओल्ड फरीदाबाद के तालाब रोड पर मुस्लिम समाज के सैकड़ों लोग इकठ्ठा हुए लेकिन शहर में आज फिर भाईचारे की अजीब मिशाल देखने को मिली।
पुलिस भी इस प्रदर्शन को लेकर काफी सतर्क थी और कल से ही पुलिस अधिकारी इस प्रदर्शन पर निगाह रख रहे थे। बसपा नेता हाजी करामत अली ने राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविंद तक अपनी आवाज एक ज्ञापन के माध्यम से पहुंचाई। ज्ञापन कुछ इस तरह से था।
Post A Comment:
0 comments: