फरीदाबाद नगर निगम में इतने भ्रष्टाचार और घोटाले हुए हैं कि कुछ लोग पिछले साल तक फरीदाबाद नगर निगम को फरीदाबाद नरक निगम कहते थे, पिछले साल कुछ लोगों ने भ्रष्टाचार विरोधी मंच गठित करके नगर निगम के अधिकारियों के भ्रष्टाचार के खिलाफ बड़ा आन्दोलन शुरू किया था, नगर निगम पर करीब 42 मामलों में भ्रष्टाचार और घोटालों के आरोप लगाकर CBI जांच की मांग की गयी थी, SIT गठित करने की भी मांग की गयी थी.
इस आन्दोलन की अगुवाई करने में नगर निगम के ही Establishment Officer रतन लाल रोहिल्ला भी थे, उन्होने पद को किनारे रखकर नगर निगम के खिलाफ ही धरना देना शुरू कर दिया था, भ्रष्टाचार के संगीन आरोप लगाये थे, अगर यूँ कहें कि नगर निगम के भ्रष्टाचार का खुलासा रतन लाल रोहिल्ला ने ही किया था तो गलत नहीं होगा.
अब अचानक रतन लाल रोहिल्ला ने फिर से नगर निगम में Establishment Officer की पोस्ट पर अपनी नियुक्ति करवा ली है, इनकी अगुवाई में फरीदाबाद के सैकड़ों युवाओं ने आन्दोलन शुरू किया था, नगर निगम के भ्रष्टाचार की CBI से जांच की मांग की थी, बाबा राम केवल ने अपनी जीभ में छेद कर लिया था, लेकिन रतन लाल ने इन लोगों के दो महीनें के आन्दोलन को मिटटी में मिलाते हुए फिर से नगर निगम में Establishment Officer बन गए. देखिये ये नियुक्ति पत्र.
रतन लाल रोहिल्ला के इस तरह से पासा बदलने से फरीदाबाद के लोग हैरान हैं खासकर वे युवा जो इनके साथ आन्दोलन से जुड़े थे, लोग पूछ रहे हैं कि क्या नगर निगम से भ्रष्टाचार समाप्त हो गया जो रतन लाल रोहिल्ला ने वहां पर फिर से नौकरी शुरू कर दी, क्या उनकी CBI जांच की मांग मान ली गयी, क्या भ्रष्टाचार की जाँच के लिए SIT का गठन हो गया.
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